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बाइक टक्कर विवाद में युवक की गोली मारकर हत्या में दो की गिफ्तारी

ग्वालियर। दीनदयाल नगर में सरेराह गोली मारकर छात्र की हत्या करने वाले चाचा-भतीजे को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। अभी एक आरोपी और है, जिसकी तलाश चल रही है। चाचा-भतीजे उप्र के इटावा से पकड़े गए हैं। यहां इनके कई रिश्तेदार हैं, जिनकी मदद से फरारी काट रहे थे। पुलिस को सूचना मिली और इन्हें दबोच लिया गया। मुख्य आरोपी भगवानदास शर्मा से जब पुलिस ने पूछताछ की तो उसने हत्या करना स्वीकार की। उसने बताया कि अंकित ने पहले उसे मुक्का मारा था, जिससे उसका दांत टूट गया और मुंह से खून आ गया। इसके बाद उसने भतीजों को बुलाया, भतीजे कट्टा ले आए। कट्टा उसने पहले डराने के लिए ताना, जब अंकित ने छुड़ाया तो गोली चला दी।
24 अगस्त बुधवार को दिनदहाड़े दीनदयाल नगर स्थित टाइगर चौक पर अंकित पुत्र बृजकिशोर शर्मा निवासी शताब्दीपुरम की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। उसकी बाइक भगवानदास शर्मा की बाइक से टकरा गई थी। भगवानदास शर्मा ने अपने भतीजे अजय शर्मा और विजय शर्मा को फोन करके बुला लिया। तीनों ने मिलकर उसे बेरहमी से पीटा, फिर पीठ में कट्टे से गोली मार दी। जिससे उसकी मौत हो गई। महाराजपुरा पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज किया था।

सीसीटीवी फुटेज से मिला सुराग, इटावा से पकड़े हत्या आरोपी

जब पुलिस ने घटना स्थल के आसपास छानबीन की तो पुलिस को कुछ जगह पर सीसीटीवी कैमरे के फुटेज मिले थे। यहीं से पुलिस का सुराग मिला कि हत्या करने वालों का छात्र से कोई लेना देना नहीं था। हत्या की वजह तत्कालीक विवाद बाइक टकराना ही था। इसके बाद पुलिस ने फुटेज से पहचान कर बदमाशों की छानबीन की तो पता चला कि हत्या करने वाले हिस्ट्रीशीटर चाचा भतीजे हैं। वह भिंड के मेहगांव में भी हत्या के इरादे से एक युवक को गोलियां मार चुके हैं।
सीएसपी महाराजपुरा रवि भदौरिया ने बताया कि अंकित शर्मा के हत्यारों की तलाश में लगातार टीम लगी हुई थीं। दो टीम तलाश में लगाई थी। यह लोग भिंड के रास्ते इटावा भागे। लोकेशन मिली तो एक टीम यहां पहुंची। और भगवानदास शर्मा और अजय शर्मा को दबोच लिया। इन्हें गिरफ्तार कर टीम ग्वालियर ले आई। भगवानदास का दूसरा भतीजा विजय अभी भी फरार है। सीएसपी भदौरिया ने बताया कि भगवानदास शर्मा पर मेहगांव में हत्या के प्रयास का मामला दर्ज था। वह वहां से भी वांटेड है। दोनों आरोपियों से पूछताछ चल रही है। इन्होंने अंकित को गोली मारना स्वीकार किया है।

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